
कांग्रेस का उद्देश्य है किसी भी प्रकार से सत्ता हड़पना तथा एससी, एसटी एवं ओबीसी के अधिकार को समुदाय विशेष को सौंपना है।
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भाजपा सदैव ही ‘सबका साथ और सबका विकास’ की पक्षधर रही, मगर कांग्रेस का इतिहास तुष्टीकरण की राजनीति रही है और राहुल गांधी अब देश की संपत्ति, संसाधन और पूंजी का एक्स-रे करवाने की बात कर रहे हैं।
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कर्नाटक में मुस्लिम समुदाय को ओबीसी का आरक्षण देकर उनके अधिकारों पर डाका डाला गया है।
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राहुल गांधी ओबीसी वर्ग से आरक्षण छीनकर मुस्लिम समुदाय को देने वाली “कर्नाटक मॉडल” को पूरे देश में लागू करना चाहते हैं।
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27 अक्टूबर 1951 को बाबा साहेब अंबेडकर ने कहा था कि ‘देश के प्रधानमंत्री और कांग्रेस के अध्यक्ष के रूप में पंडित जवाहरलाल नेहरू ने कभी भी दलितों के हित की बात नहीं की, जब भी बात की तो केवल मुसलमानों के हित की बात की।
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9 दिसंबर 2006 को नेशनल काउन्सिल की बैठक में कांग्रेस सरकार के तत्कालीन प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने कहा था कि ‘देश के संसाधनों पर पहला हक मुसलमानों का है।
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कांग्रेस नेताओं द्वारा माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी को लगातार गालियां दी जाती हैं और अपमानजनक शब्द कहे जाते हैं, क्योंकि वे पिछड़े वर्ग से आते हैं।
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कांग्रेस देश में जाति जनगणना कर एक्स-रे करने की बात कर रही है, लेकिन राहुल गांधी को यह ज्ञात नहीं है कि देश की जनता उनके षड्यन्त्र की एमआरआई कर रही है।
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वरिष्ठ भाजपा नेता एवं उत्तर प्रदेश के उप-मुख्यमंत्री श्री केशव प्रसाद मौर्य ने आज भाजपा केन्द्रीय कार्यालय में आयोजित प्रेस वार्ता में कांग्रेस की तुष्टीकरण की राजनीति पर जमकर निशाना साधा। श्री मौर्य ने कहा कि कर्नाटक में कांग्रेस की सरकार ने ओबीसी वर्ग के आरक्षण को छीनकर मुस्लिम समुदाय को दे दिया है, जो बाबा साहब अंबेडकर द्वारा बनाए गए भारत के संविधान के विरुद्ध है। इससे पहले कांग्रेस सरकार के तत्कालीन प्रधानमंत्री श्री मनमोहन सिंह ने देश के संसाधनों पर पहला अधिकार मुस्लिम वर्ग का बताया था।
श्री मौर्य ने कहा कि कांग्रेस और इंडी गठबंधन एससी, एसटी एवं ओबीसी वर्ग के अधिकारों पर डाका डालने की साजिश कर रही है। कर्नाटक में ओबीसी वर्ग के आरक्षण को छीन कर मुस्लिम समुदाय दिया गया, जो ओबीसी के अधिकारों पर डाका डालने के समान है। भारतीय जनता पार्टी ने सदैव ही ‘सबका साथ और सबका विकास’ के मूलमंत्र पर चलती है, मगर कांग्रेस का इतिहास सदा तुष्टीकरण की घिनौनी राजनीति का रहा है। 9 दिसंबर 2006 को नेशनल काउन्सिल की बैठक में पूर्व प्रधानमंत्री श्री मनमोहन सिंह ने कहा था कि ‘देश के संसाधनों पर पहला हक मुसलमानों का है। यह कथन भारत के संविधान के विरुद्ध और बाबा साहब अंबेडकर सहित संविधान सभा के सभी सदस्यों की भावनाओं के विपरीत था। तत्कालीन प्रधानमंत्री के रूप में मनमोहन सिंह ने मुंबई की प्रेस वार्ता में अपने कथन को दोहराते हुए कहा कहा था कि ‘देश के संसाधनों पर पहला हक मुसलमानों का है।’
कांग्रेस के तुष्टिकरण की राजनीति पर निशाना साधते हुए श्री मौर्य ने कहा कि 27 अक्टूबर 1951 को बाबा साहेब अंबेडकर ने कहा था कि ‘देश के प्रधानमंत्री और कांग्रेस के अध्यक्ष के रूप में पंडित जवाहरलाल नेहरू ने कभी भी दलितों के हित की बात नहीं की, जब भी बात की तो केवल मुसलमानों के हित की बात की। कांग्रेस के शासनकाल में धार्मिक आधार पर देश का विभाजन हुआ और लोगों को काफी नुकसान भी सहन करना पड़ा। उन्होंने कहा कि कर्नाटक में कांग्रेस सरकार द्वारा मण्डल आयोग की सिफारिश से अलग हटकर ओबीसी वर्ग के आरक्षण को मुस्लिम समुदाय को दे दिया गया। कांग्रेस के शहजादे राहुल गांधी अब ओबीसी वर्ग के आरक्षण को छीनकर मुस्लिमों को देने वाली “कर्नाटक मॉडल” को पूरे देश में लागू करना चाहते हैं। कांग्रेस के घोषणा पत्र से भी यह स्पष्ट है कि उनका लक्ष्य एससी, एसटी और ओबीसी के अधिकारों को छीनकर देश में आए घुसपैठियों को देना है। यह घुसपैठिए ही कांग्रेस पार्टी का वोटबैंक हैं। इसके अलावा, राहुल गांधी कहते हैं कि वह देश की संपत्ति, संसाधन और पूंजी का एक्स-रे करवाएंगे। देश के एससी, एसटीऔर ओबीसी वर्ग के पास सीमित संसाधन है, मगर देश में आए घुसपैठियों के पास कुछ भी नहीं है।
देश की जनता के खिलाफ राहुल गाँधी और कांग्रेस की साजिश पर प्रहार करते हुए श्री मौर्य ने कहा कि माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी ने देश में आजादी के बाद सबसे अच्छे प्रधान सेवक के रूप में काम किया है। आदरणीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास और सबका प्रयास के मूलमंत्र को लेकर देश को आगे बढ़ा रहे हैं और देश के 25 करोड़ गरीबों को गरीबी रेखा से ऊपर उठाया है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस नेताओं द्वारा माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी को प्रतिदिन हजारों गालियां दी जाती हैं और अपमानजनक शब्द कहे जाते हैं, क्योंकि वह पिछड़ा वर्ग से आते हैं। कांग्रेस ने अपने घोषणा पत्र में स्पष्ट दावा किया है कि कांग्रेस को अवसर मिलते ही बहुसंख्यकवाद को समाप्त करेगी, जिसमें अनुसूचित जाति, जनजाति और पिछड़े वर्ग के लोग आते हैं। कांग्रेस पार्टी अनुसूचित जाति, जनजाति और पिछड़ा वर्ग के लोगों का अधिकार छीनना चाहती है। कांग्रेस अपनी इसी मानसिकता के चलते कश्मीर के लोग को आजादी के 70 वर्षों तक अधिकारों से वंचित रखा। कांग्रेस देश में जाति जनगणना करके एक्स-रे करने की बात कर रही है, लेकिन कांग्रेस पार्टी के नेता राहुल गांधी को यह ज्ञात नहीं है कि देश की जनता उनके षड्यन्त्र की एमआरआई कर रही है। देश के दलितों, पिछड़ो, अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति के साथ जो अन्याय हुआ है उसकी सजा कांग्रेस को 2024 के लोकसभा चुनाव में मिलेगी। कांग्रेस पार्टी का लोकसभा चुनाव 2024 में एकमात्र उद्देश्य, किसी भी प्रकार से सत्ता हड़प कर एससी, एसटी और एबीसी के अधिकार समुदाय विशेष को सौंपना है। कांग्रेस ने सदैव बहुसंख्यक वर्गों की उपेक्षा की है और ऐसा करके कांग्रेस पार्टी सदा के लिए वोटबैंक को मजबूत करना चाहती है।
उप मुख्यमंत्री श्री मौर्य ने कांग्रेस और इंडी एलायंस पर प्रहार करते हुए सवाल पूछे कि कांग्रेस के सभी सहयोगी दल यह स्पष्ट करें कि कर्नाटक में पिछड़ा वर्ग का आरक्षण छीनकर, समुदाय विशेष को देने का षड्यन्त्र पर कांग्रेस मौन क्यों धारण किये हुए हैं? जिन सभी राज्यों में दलितों, अनुसूचित जातियों और पिछड़ा वर्गों के साथ अन्याय हुआ है, वहां की जनता आगामी चुनाव में कांग्रेस का हिसाब चुकता करेगी और माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी को तीसरी बार देश की बागडोर सौंपेगी।
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